तीनों लोकों को आह्लादित करने वाले एवं देहधारियों के देह की रक्षा करने वाले भगवान् जिनेश्वर को भक्तिपूर्वक नमस्कार करके जैन-रक्षा-स्तोत्र को कहता हूं।
ऊँ ह्मीं भगवान् आदिनाथ मेरे मस्तक की सदैव रक्षा करें। ऊँ ह्मीं श्रीं देवेश्वर अजित मेरे भले की सदैव रक्षा करें।
ऊँ आं क्रौं तीर्थकर सम्भवनाथ मेरे नेत्रों की रक्षा करें। ऊँ ह्मीं श्रीं क्लीं ब्लूं तीर्थकर अभिनन्दन मेरी घ्रारणेन्द्रियों की (नासिका की) रक्षा करें।
ओंकार ध्वनि से युक्त तीर्थंकर श्रीसुमतिनाथ भगवान् मेरी जिह्व और मुख की रक्ष करें। ऊँ ह्मीं श्रीं रक्तवर्ण भगवान् भद्मप्रभु प्रभु मेरे कानों की रक्षा करें।
श्री से शोभायमान सप्तम तीर्थंकर भगवान् सुपाश्र्वनाथ मेरी ग्रीवा की रक्षा करें। श्रीं ह्मीं (क्र) भगवान् चन्द्रप्रभु मेरे स्कन्धों की रक्षा करें।
ऊँ क्षां क्षीं क्षूं चिदानन्दमय शुभ भगवान् सुविधि और शीतलनाथ मेरे करपंकजों (हाथों) की रक्षा करें।
श्री और प्ररेणा से युक्त श्रेयांस और वासुपूज्य भगवान् दया करके मेरे हृदय की निरंतर रक्षा करें।
मायाबीजाक्षर से युक्त विमलानाथ और अनन्तनाथ भगवान् मेरे सुन्दर उदर (पेट) की रक्षा करें।
ऊँ ह्मीं श्रीं क्लीं हंस े युक्त श्रीधर्मनाथ और शान्तिनाथ वारं - वार नाभिकमल की रक्षा करें।
ऊँ ह्मीं क्लीं से सहित भगवान् कुन्थुनाथ और अरनाथ मेरे कटितट की रक्षा करें।
ऊँ ह्मां ह्मीं ऊँ ह्मूं ह्मः ब्लूं क्लीं श्रीं से युक्त कृपालु भगवान् मल्लिनाथ और मुनिसुव्रतनाथ मेरी सुन्दर जंघाओं की रक्षा करें।
राज्य और राजीमती को छोड़कर जाने वाले ओंकार से युक्त भगवान् अमिनाथ और नेमिनाथ मेरे जानुदेश (घुटनों) की रक्षा करें।
ऊँ ह्मी श्रीं भूं क्लीं ह्मां ह्मः श्रां श्रः से युक्त सूमान देने वाले भगवान् श्रीपाश्र्वनाथ और महावीर मेरी रक्षा करें।
कर्म के नाश करने वाले, भयत्रस्तों का भय, निवारण करने वाले भगवान् जिनेन्द्र ध्यान किये गये यथास्थान रक्षा करने वाले हों।
जेा व्यक्ति इस जैन-रक्षा-स्तोत्र को लिखकर अपने मस्तक पर धारण करता है, वह सूर्य के समान संसार में प्रकाशित होता है और लक्ष्मीवान् होता है तथा विश्व का प्रिय होता है।
उसको भयंकर रोग, वैताल, शाकिनी, भूत और राक्षस आदि दोष नहीं दिखाई देते, अपितु उसके रक्षक होते हैं।
अग्नि, सर्प, सात प्रकार के भय, उत्पात, राजभय, चोरभय और विग्रह (युद्ध-कलह) ये सभी दोष इस स्तोत्र के पाठ करते रहने से नष्ट हो जाते हैं और ये सब रक्षक बन जाते हैं।